होली के रंग में अब रंग जाएँगे
शिवम अन्तापुरिया
ये सब कुछ क्या है
हम और तुम क्या है
तू तू करता वो क्या है
अपने में लीन वो क्या है
मेरा मेरा मेरा वो क्या है
शिवम अन्तापुरिया
ये प्यार ही एक ऐसा है जिसमें सब कुछ मिलता है -दर्द,विरह-वेदना,दुःख,हँसी,खुशी,बीमारी
ये सब और कहीं न मिलेगा एक साथ
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